ghazal-in-hindi meregeet
वक्त नहीं है, सब कहते हैं
ऐसे ही आदमी जीते मरते हैं
उसका लोकेशन बताया रहा है
हमेशा मोबाइल पे झूठ बोलते हैं
उसे पसंद नहीं तो ध्यान भटकाया
अक्सर इधर-उधर की बातें करते हैं
उससे मिलना नहीं था जीवन में
इश्क करके अब बहुत पछताते हैं
चलो ! चले उस पार चले हम तुम
कहीं बैठ कर दिल बहलाते हैं
जीवन पाना खोना है
जो मिल गया उसपर इतराते हैं
झूठ की कीमत क्या
पकड़े गए तो मुंह छुपाते हैं
हमने सीखा उससे बहुत
मतलब बहुत निकालते हैं
रिश्तों की कीमत क्या जाने
समझौतों से मन बहलाते हैं
आज नहीं तो कल नहीं
कितने दिनों तक बहलाते हैं
कोई आए तो बताते दिल का हाल
खुद को ऐसे समझाते हैं !!!
ghazal-in-hindi meregeet
जाने कैसे मोहब्बत के गीत गाते होंगे
जिसके आज एक है कल चार होंगे
रिश्ते पुरुष के नजरिए से बना
औरत के नजरिए से क्या होंगी !!!!
कैसे वो ख्याल बनाए बैठे हैं
अपने इरादों को सजाएं बैठे हैं
उसे अच्छे लोगों से नफ़रत है
आंतकी के जनाजे में भीड़ बनाएं बैठे हैं !!!!
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