Buddhi-or-sundarta-kavita
बुध्दि और सुंदरता
विपरीत धारा है
जो कभी मिल नहीं पाते हैं ।
एक दिल की बात है
जिस पर आ जाए
वहीं ठहर जाए
दूसरा दिमाग की बात है
जो समझ जाए
दिल निहारता है
किसी की सुंदरता को
ठहर कर बस जाता है
किसी के दिल में
बुद्धि टटोलता है
कारण, प्रभाव फायदे
नियम कानून कायदे
उलझा रहता है
अपने तर्को में
खुद से अकेला होकर !!!
Buddhi-or-sundarta-kavita
बुद्धि में चालाकी
किसी सत्य को बदसूरत बना देती है
और चालाकी बदसूरत को सुन्दर
जो व्यापक बुद्धि को
थका सकती है
चालाकी बुद्धि द्वारा
जैसे तथाकथित बुद्धिजीवियों द्वारा किया जाता है!!!
हां, मुझे सहारा दो
साथ चले ऐसा यारा दो
तुम तर्क से नर्क कर रहे हो
जीवन को
मैं तो उन छोटी छोटी सी चीजों की
आभारी हूं
जिसने मुझे कभी सहारा दिया
जैसे दीवार में टिक जाता हूं
आभार गाता हूं
कभी सहारा बनके साथ देता है
मंदिर की घंटियां
मेरी प्रार्थनाएं
दिन भर के लिए
जीने की राह देती है
जिसे तुम तोड़ने की कोशिश करते हो
तथाकथित बुद्धिजीवियों !!!!
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