प्रेम और दुनिया कविता Love and the World Poem in Hindi

प्रेम और दुनिया कविता Love and the World Poem in Hindi 

तुम नहीं पढ़ पाओगे
तुम नहीं लड़ पाओगे
सफर की चुनौतियां क्या है
तुम हल नहीं कर पाओगे
उम्मीद उन्हीं से की जाती है
यदि कोशिश कर पाओगे
आसानी से वक्त कट जाता है
यदि तुम प्यार कर पाओगे 
हर मुसीबतों का हल है यहां
यदि तुम उसे ढूंढ पाएं !!!

Love and the World Poem in Hindi 


मैं जितना डूबता गया
तेरे प्यार में
दुनिया सिमटती गई
तुम्हारे इर्द गिर्द
दुनिया में सिर्फ मेरा व्यवहार है 
जबकि तू मेरे जीने का आधार है
जिसे छोड़ दुनिया मेरी
बुरी हो जाएगी  !!!

दर्द सुनाने क्या बैठे
उनका भी दर्द निकल पड़े
हम कह नहीं पाए दिल की बात
वो शुरू हुए और निकल पड़े
ताज्जुब हुआ हमें बहुत
कहना था अपना और उनका सुन पड़े । 

वक़्त का पहिया घूम गया,
जो बातें कल सच थीं,
वो आज लोगों को चुभ गया।

जहाँ लाभ दिखे, वहीं शामिल होते हैं,
जहाँ मतलब न हो, वहाँ मौन सोते हैं।

शिक्षित होने का अर्थ यह नहीं,
कि बातों का कोई छोर नहीं।
बातें बड़ी-बड़ी, मगर संस्कार नहीं,
बोलते ऐसे, जैसे उनके बराबर कोई और नहीं।

स्टेटस ऐसा डाल लिया है,
खुद को ही ज्ञानी मान लिया है,
मानो सब कुछ जान लिया है।

अब मन किसी चीज़ में ठहरता नहीं,
कुतर्कों के जाल में हर कोई फँसता यहीं।

उतर गए हैं भाव सभी,
हृदय से मिट गए लगाव सभी।

अब शब्दों से नहीं, चेहरों से आँका जाता है,
सत्य नहीं — दिखावा यहाँ भाता है।

कभी जो सच की राह पर गर्व से चलता था,
वो अब भीड़ में गुम, चुपचाप झुक गया।

जिसे बोलना नहीं था, वो बोल रहा है,
मूर्खों की भीड़ में वही खेल रहा है।

जहाँ पहले दिलों में अपनापन पलता था,
अब स्वार्थ की धूप में हर रिश्ता जलता है।

यह सच है कि 
कुछ सच को दबाया गया 
नई सभ्यता की ढोंग से 
उसे छुपाया गया 

पेड़-पौधे, नदी पहाड़ को पुजते लोगों को 
सामाजिक कुरीतियां बताया गया 
यह जानते हुए कि जुड़े हैं एक-दूसरे से 
स्वार्थपरक मतलब से उसे काटा गया 

बड़ी सफाई देने लगें हैं लोग 
गमले में रोपित पौधों की तरह 
उग आए हैं लोग !!!


उम्मीद तो यहां किसी पे नहीं 
हम तुम अलग-अलग इतने हैं
जितने मतलब है 
उसके चेहरे का रंग उतने हैं !  !!



तुम्हारा मतलब हम जानते हैं 
व्यवहार में नहीं दिखा है समझाते क्यों हो 
दिल में कुछ और ख्याल 
दिखावा इतने करते क्यों हो? !!!


तुम्हारी स्थापित बुद्धि 
छुपाने से नहीं छुपती है 
चालाकी बुद्धि से मतलब क्या है?
अभी ठीक है मतलब है 
ऐसे रिश्तों से मतलब क्या है?


तुम जो करते हो 
हम उसे अंदर तक जानते हैं 
फ़ालतू के दिखावा अपनापन का  मतलब क्या है ?


इतने समझदार हो 
हमारे सिवा तुम्हें दुनिया मानती है कि नहीं 
अगर इतने खुश हो तो 
तुम खुद जानती हो कि नहीं 
ये दिखावा, बनावटी बातें 
तुम्हें तसल्ली है कि नहीं!!!!

तुम्हें दूर जाना है 
बहानें बनाना है 
साबित करना है तुम अच्छे हो 
चलो ! मैं तैयार हूं 
तुम गिरों जहां तक 
तुम्हें अच्छा लगता है  !!!

जिसे वो चाहता है 
जो उसे चाहता है 
वो मर जाएगा 
क्योंकि किसी और को चाहता है 
उसकी मोहब्बत कैसे खुश होगी ?
 !!!!

प्रेम और दुनिया कविता Love and the World Poem in Hindi


















-राजकपूर राजपूत "राज "

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