जब भी थक जाना poetry love

poetry love

 जब भी थक जाना

तू मेरे पास आ जाना

मैं तेरे दर्दों को सहलाऊंगा

प्यार की गीत सुना कर

और तुम खो जाना

मेरी ऑंखों में

मेरे गीतों में

भूलकर दुनिया को

मैं छुपा लूंगा

दुनिया से

उस वक्त कोई नहीं होगा

सिवाय मेरे और तेरे

जहॉं दिल की बातें होगी

मुलाकातें होगी

और मुझे पूरा यकीन है

तेरी शिकायत निकल जाएगी

जमाने से !!!

poetry love

घर के दरवाजे बाहर से बंद है

परदेश जाने वाले ने

ताला जड़ा है

भीतर-भीतर धूल जम गई है

हर कमरे में

बिस्तर पे

तस्वीर पे

परदेश जाने वाले

रो कर गया होगा

मैं फिर आऊंगा

थक कर

आराम पाऊंगा

उस समय बहारूगा

हर कमरा !!!


इस तरह

थके-थके मत चला करो

दुनिया बुरी है

लेकिन तुम मत जला करो

घर की दरों दीवार

तुम्हारा अपना है

बातें किया करों !!!

इन्हें भी पढ़ें 👉 तुम आओ मेरे पास 




Reactions

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ